हिप फ्रैक्चर)
Mon, 26 Aug 2024
बाथरूम में गिर जाने,छत और पेड़ से गिरे जाने और सड़क दुर्घटना में कूल्हे की हड्डी टुटने (हिप फ्रैक्चर) की घटना बहुत ही समान्य हैं।बुढ़ापे के कारण भी कुल्हे की हड्डी घिस जाती है।इन परिस्थितियों में पारम्परिक दवा, प्लास्टर और ब्रेसिज़ और कॉलर सपोर्ट काम नहीं करता है।
ऐसे में हेमीआरथो प्लास्टी नामक नवीन सर्जरी से फ्रैक्चर हड्डियों को ठीक और घिसे हुए से हुए जोड़ों को बदला जाता है। हेमीआरथो प्लास्टी टोटल हिप रिप्लेसमेंट की तुलना में अधिक सरलऔर कम दर्द और रकतश्राव जनित होता है।
हेमीआरथोप्लास्टी सर्जरी का प्रयोग कंधे जाम हो जाने,कंधे की हड्डी घिस जाने, कंधे को उपर उठाने में स्थाई विकृति और कंधे के फ्रैक्चर को दुरुस्त करने में भी लिया जाता है।
ऐसे आपरेशन में कूल्हे या कन्धे के डैमेज हड्डी को सबसे पहले प्याले या सौकेट से निकाल दिया जाता है।फिर फ्रैक्चर हड्डी में धातु के बने स्टेम लगा कर मजबूती दी जाती है। घिसे हुए गेंद (हड्डी का सबसे उपरी टोपी जो सौकेट में बैठा होता है)के उपर प्लास्टिक के बने कृत्रिम गेंद (बायपोलर प्रोस्थेसिस) का टोपी पहनाकर कंधे और कुल्हे के गेंद को मजबूती दिया जाता है। अब कृत्रिम गेंद को पुनः सौकेट में लगा कर कुछ दिनों तक मरीज को इनफैक्शन से मुक्त रखने की व्यवस्था की जाती है।
एक दो हफ्तों में मरीज समान्य रूप से चलने फिरने और दैनिक काम करने लायक हो जाता है। प्रोफेशनल धावकों और खिलाड़ीयों के सरपट दौड़ लगाने की गतिविधि जरूर सीमित हो जाती है। समान्य रूप से ऐसे कृत्रिम कूल्हे और कंधे १५ वर्ष तक आराम से चल जाते हैं
DR. S. KUMAR.....
DR. S. KUMAR